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Mob lynching | What Is Mob lynching |Mob lynching In India

What Is Mob-Lynching

Mob-lynching-in-India

Mob lynching

आप लोगो ने शायद टी.वी. समाचार या फिर सोशल मीडिया पर आज कल सुनने में आ रहा है |शायद कुछ लोगो को इस बारे में पता भी नही है |आज हम इस  Mob lynching के बारे में बात करेंगे |
Mob lynching का अर्थ होता है :- जैसे कोई भीड़ या समुदाय हो उसमे अगर किसी व्यक्ति द्वारा अचानक आक्रमण कर दिया जाता है तो वो भीड़ या समुदाय गुस्सा होकर एक भयानक रूप ले लेती है और वो किसी को भी मार सकते है इसे Mob lynching कहते है |
शायद आपको पता हो ये ज्यादातर सोशल मीडिया द्वारा फलाया जाता है | जिसके कारण एक छोटा स मुद्दा बड़ा बन जाता है | और लोगो मो आक्रमक बना देता है | एक तरह से इसे एक भीड़ हत्या भी कहा जाता है | 
इए तरह के Mob lynching  के केस काफी हद तक इंडिया में समाचार में रहे है | 
ऐसे ही दो पुराने केस के बारे में आपको बताता हु |

2015 का दीमापुर Mob lynching ...

Mob-lynching
Mob-Lynching
नागालैंड में एक जगह है दीमापुर यह पर एक केस हुआ की एक आदमी ने किसी का रेप किया है | 

जबकि कोर्ट में कुछ साबित नही हुआ की उसने रेप किया है यां नही | लेकिन फिर भी पुलिस ने उसे जेल में डाल दिया | तो वो आदमी जेल में था | तो उसी दिन अचानक से रात के समय 7000 से 8000 लोगो की भीड़ आती है |
और उस आदमी को जेल से बहार निकलती है | और पुलिस कुछ नही कर पाती क्योकि भीड़ बहुत थी |
उस आदमी को जेल से बहार निकलकर उसके कपडे उतारे जाते है | उसको परेड करवाया जाता है | फिर उसको वही पर मार डाला जाता है | 

ये केस काफी डरावना था | इस केस ये पता चलता है कि सरभीड़ के सामने कितनी कमजोर नजर आती है | वो कमजोर इस लिए हो जाती है की भीड़ बहुत ज्यादा लोगो की होती है | कम से कम 7000-8000 लोग थे | ऐसी भीड़ का न तो कोई चहरा होता है और ना ही ये पता चलता है की इस भीड़ का लीडर कौन है | 

दूसरा केस 2018 में हुआ Engineer mob-lynching

Mob-Lynching
Mob-Lynching

इस केस के बारे में शायद आप लोगो ने पीछे समाचारों या सोशल मीडिया पर देखा या पढ़ा होगा |
जो की एक Whats-app द्वारा फैलाए एक झूठे मैसेज की वजह से हुआ था |
जिसकी वजह से एक Engineer को 2000-3000 लोगो की भीड़ मर देती है | 
ये केस कुछ ऐसा था की किसी Whats-app ग्रुप में किसी अनजान आदमी की फोटो वायरल हो जाती है | और उस आदमी की फोटो को लेकर एक झूठी न्यूज़ फैलादी जाती है | की एक बच्चा चोर जो की गलियों और महौलो से बच्चों को उठा कर ले जाता है | इस मैसेज को Whats-app और सोशल मीडिया पर फैला  दिया जाता है |
जिसके कारण 2000-3000 लोगो की भीड़ इक्कठा होती है |और उस आदमी को मर देती है |ये केस कुछ समझमे नहीं आया | की लोग झूट को भी सच कैसे मान लेते है | बल्कि बिना कुछ सोचे समझे कुछ भी कर देते है | इस केस में तो उस भीड़ का तो कुछ नहीं हुआ | लेकिन उस आदमी की जान चली जाती है | लोगो ने बिना सही -गलत  सोचे एक Engineer को मार दिया | और ज्यादा टार ऐया इंडिया में ही होता है | वो इस किये क्योकि बिना किसी कानून के या किसी बीना कानून के डर से भीड़ कही भी आ सकती है  | किसी को भी मार सकती है | और हमारे देश में इतने गुस्से वाले लोग है , जो किसी की भी जान ऐसे तरीके से ले सकते है वो भी एक झूठे मैसेज , एक सक या किसी अफवाह के तोर पर हमारे देश की न्यूज़ बहार विदेशो में भी वायरल होती है | फिर भी लोग बिं कुछ सोचे समझे दिमाग से काम ना लेकर गुस्से से काम लेते है | और किसी की भी जान ले लेते है | 

अब इस केस के अलावा और भी ऐसे केस हुए है | जहा गौ रक्षक भी थे , और कई केसों में तो जाती -धर्म के नाम पर भी मारा गया है | इस तरह भारत में हम देख रहे है | की कैसे Mob-lynching के केस बढ़ रहे है | और इस से लोगो का जो डर है पुलिस से या कानून से वो भी ज्यादा हद तक कम हो रहा है | 

Mob-lynching की बात करे तो ये जो एक्ट है अपने आप में ये कही पर भी परिभाषित नहीं है |
उदहारण के तोर पर अगर आप देखे तो IPC (Indian Penal Code) में वह पर भी परिभाषित नहीं किया के इसको Mob-lynching कहते है | और इसकी ये सजा होगी |
लेकिन जो CRPC (Criminal Procedure Code) वहा पर आपको इसकी पूरी परिभाषा तो नहीं मिलेगी लेकिन जो Section-223-A है उसमे ये लिखा गया है | 
की ऐसे केस में अगर 2-3 लोग है तो आप उन पर  ये धरा लगा सकते है | जैसे मानलो  2-3 लोगो ने किसी आदमी या किसी परिवार का खून कर दिया तो आप वहा CRPC (Criminal Procedure Code) का प्रयोग कर सकते है |
लेकिन जब 5000-6000 लोग जहा आ जाते है | वहा इस कानून CRPC (Criminal Procedure Code) को लागू करना मुश्किल हो जाता है | क्योकि इसमें हम पता नहीं कर सकते कि किसने मारा है |
इसी लिए कहा जाता है की भीड़ का कोई चहरा नहीं होता |
और अब हम बात करे भारतीये सविधान की तो इसमें भी हमे कुछ नहीं बताया गया | की Mob-lynching क्या है और इसकी परिभाषा क्या है |
भारत में आज के समय में Mob-lynching  के केस बहुत तेज़ी से बढ़ रहे है और ये जो लोगो की भीड़ है ये भी बढती जा रही है | इसका कारण है यह लोगो को पता है की उनको भीड़ की वजह से कोई केस या सजा नहीं होगी | चाहे वो इस भीड़ के जरिये किसी का खून भी करदे उनको पता है की भीड़ में किसी को पता नही चलता की आदमी को किसने मारा है |बस इसी कारण जो लोग इस भीड़ को भड़काते है उनका भी आताम्विश्वाश बढ़ जाता है |
Mob-lynching  जो इतनी बड़ी समस्या हमारे देश में है |इसको देखते हुए हमारे देश में एक कानून लाया जाये |
ताकि Mob-lynching  करने का कुछ डर  बढे |
कुछ समय पहले Mob-lynching को और इसको बढ़ते देख इसके लिए एक प्रस्ताव लाया गया था | ये प्रस्ताव किसी सरकार द्वारा नहीं थी बल्कि ये कुछ वकीलों , कुछ समाज के लोगो ,और कुछ सामाजिक कार्य कर्ताओं ने मिलकर बनाया था इसका ना था | MSUKA  (Manav Suraksha Kanoon ) ये प्रस्ताव बनाया तो गया था |और सरकार से इसको पास करवाने की गुहार भी लगाईं गई | लेकी बाद में इस का स्पॉट थोडा कम हो गया था | जिसकी वजह से आज के समय में ये काफी हद तक गुमनाम हो चूका है | 
इसी तरह कुछ समय पहले एक PIL (Public Interest Litigation) जिसे हिंदी में जन हित याचिका भी कहते है | इसे कोई भी व्यक्ति सुप्रीम कोर्ट में डाल सकता है | इसे आप भी डाल सकते है |
तो इसी तरह एक PIL  डाली गई वो भी दो जाने माने लोगो द्वारा |
1. तुषार गाँधी (जो की गाँधी जी के पोते है )
2.तहसीन पूनावाला इसके बारे में शायद आप लोगो ने न्यूज़ में सुना होगा |
तो इन दोनों ने मिलकर एक PIL कोर्ट में डाली थी और कहा की भारत में Mob-lynching  के केस बहुत ज्यादा बढ़ रहे है तो आप इस पर कुछ राये दीजिये , या कुछ कहिये इसके लिए कुछ तो होना चाहिए |
और सुप्रीम कोर्ट ने इस PIL का उत्तर देते हुए कहा ,जो ये Mobocracy (भीड़ में लोग ) है वो अपनी मर्जी से कुछ नहीं कर सकते | ऐसा करना गलत है | ऐसे केस जो भारत में सामने आ रहे है ,इस से भारत की छवी ख़राब होती है | और जोम भारत सरकार पर , भारत के कानून पर लोगो का जो विस्वास है वो कम होता जा रहा है | और इससे लोगो की जान जा रही है | चाहे वे बेक़सूर ही क्यों न हो | ये सब एक अफवाह ,एक गलत समाचार या किसी झूठे मैसेज के वायरल होने से ऐसा हो रहा है | ये सब गलत है | ये सब रुकना चाहिए | और सुप्रीम कोर्ट ने उसी समय पार्लियामेंट को कहा की एक ऐसा क़ानून बनाया जाये जो इस बढती Mob-lynching को रोक सके |
सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें कुछ महत्वपूर्ण बातो को ध्यान में रखने को कहा जैसे :- 

Mob-lynching-Fast Track Court


1. इसके लिए स्पेशल Fast Track Court भी होना चाहिए जिसके कारण लोगो में थोडा डर फैले |

2. और सुप्रीम कोर्ट ने ये भी कहा की केंद्र और राज्य में रेडिओ टी.वी. और सोशल मीडिया द्वारा ये मैसेज भेजे की अगर आप भीड़ बनाकर किसी को मरने के लिए जाते हो तो इसके लिए बहुत ही कड़े परिणाम होंगे ,कानून आप पर कार्यवाही करेगा | 
3.सुप्रीम कोर्ट ने कहा की एक S.P रैंक के ऑफिसर को भी रखा जाये जहा Mob-lynching का खतरा ज्यादा है 
4. सुप्रीम कोर्ट ने ये भी कहा की जो लोग गलत जानकारी या अफवाह को Whats-app या किसी भी सोशल मीडिया के जरिये फैलाते है उनके खिलाफ FIR दर्ज होनी चाहिए |और उनके खिलाफ कानूनी कार्य वाही भी की जाये |
इस PILके माध्यम से सुप्रीम कोर्ट से जो हुआ उन्होंने वो किया |बाकी सरकार को करना है जो वो करे क्या कानून बनती है या नहीं |
लेकिन सरकार कुछ करे या न करे हम तो कुछ कर सकते है | वो है Technology पर कुछ हद तक कंट्रोल |
जिसके कारण गलत जानकारी , अफवाह ,गलत समाचार जो बहुत फ़ैल रही है |जिसके कारण बहुत सारे बेक़सूर लोग अपनी जान खो रहे है | और जो बहुत ही बुरे तरीके से उनकी जान ली जा रही है वो भी एक भीड़ द्वारा तो उसके लिए यह पर हम इतना जरुर कर सकते है |
जो लोग Whats-app सोशल मीडिया , पर गलत जानकारी फैला रहे है ,उनके खिलाफ बोले ,ताकि लोग ऐसी गलत जानकारी या अफवाह ना फैला सके | 
Mob-lynching  के केस को बढ़ते देख Whats-app  ने पीछे क्या किया की पहले हम एक मैसेज को बहुत सारे लोगो को एक साथ पंहुचा सकते थे | लेकिन Whats-app ने ये सब देखते हुए उन्हें कम कर दिया है |अब हम पांच ही लोगो को एक साथ मैसेज भेज सकते है | या फारवर्ड कर सकते है |
लेकिन अकेले Whats-app  के कुछ चीज़े बदलने से ये सब नहीं रुक सकता |इसके लिए हमे भी कुछ करना पड़ेगा |
1. किसी को भी कोई गलत या झूठी जानकारी ना दे , और ना ही ऐसी जानकारी को आगे भेजे |
2. किसी जानकारी को आगे भेजने से पहले ये खुद जानले की ये जानकारी सही है या गलत |
3.अगर कही भी सोशल मीडिया पर आपको कोई गलत जानकारी दिखे , या आपको लगे की ये गलत है | तो उसे वहा से हटा दे अगर आप नहीं हटा पाते तो जिसने उसे पोस्ट किया है | उसे हटाने को बोले और बताये की ये एक गलत जानकारी है | इसके लिए आप पर केस भी हो सकता है | 
आपके ऐसा करने से शायद वो उस गलत जानकारी को हटा दे 
दोस्तों ऐसा करने से हमारे देश में न तो लोग भीड़ का रूप लेंगे ना ही कोई दंगे होंगे और न ही किसी इमानदार व बेक़सूर आदमी की जान जाएगी |

दोस्तों अगर आपको मेरी पोस्ट अच्छी लगी तो या कुछ जानकारी मिली तो इसे लाइक करे और कमेंट में बताये और शेयर करे अपने दोस्तों में और बताये  इसके लिए क्या करना चाहिए |
धन्यवाद 





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